नई दिल्ली. एक ऐसा एक्टर जिसने अपने किरदारों में कोई वैरायटी नहीं रखी. वह हमेशा एक ही किरदार में नजर आए. वह किरदार था एक पुलिस वाले का. उन्होंने फिल्मों में पुलिसिया रौब दिखाते हुए कभी रिश्वत नहीं ली, कभी किसी को भला बुरा नहीं कहा, किसी को गाली नहीं दी, ना किसी को डराया और ना किसी को धमकाया. इतना ही नहीं पुलिस वाले होने के बाद भी उन्होंने किसी अपराधी को थर्ड डिग्री भी नहीं दी. कुल मिलाकर इस पुलिस वाले ने किसी से कोई दुश्मनी नहीं रखी. फिल्मों में पुलिस की बात हो रही है तो एक एक्टर की बात करना बहुत जरूरी होता है. ये वह हैं जिन्होंने सबसे ज्यादा किरदार पुलिस के निभाए. इन्होंने पुलिसिया वर्दी पहन सलाखों के पीछे फिल्मी गुंडों को पहुंचाया है.
‘तुमको पुलिस ने चारों तरफ से घेर लिया है, अब तुम्हारे पास बचने का कोई चारा नहीं है. अपने आप को पुलिस के हवाले कर दो.’ बॉलीवुड फिल्मों में ये लाइन्स सबसे ज्यादा यूज की लाइन्स में एक हैं. 70 से 80 के दशक के बीच बनी फिल्मों में लगभग हर दूसरी-तीसरी फिल्मों, ये लाइन यूज की जाने लगी थीं, क्योंकि उन दिनों क्राइम बेस्ट फिल्मों का चलन था और जहां क्राइम होता है वहां पुलिस जरूर होती है. उस दौर में सबसे ज्यादा पुलिस की भूमिका में नजर आए जगदीश राज को आप जानते हैं, आज उनकी जिंदगी से जुड़े वो राज आपको बताएंगे जिनके बारे में शायद ही आप जानते होंगे.
कभी नहीं हुई सिक्योरिटी चेकिंग
हमारे देश में कुछ भी वीवीआईपी हैं, जिन्हें एयरपोर्ट और अन्य जगह पर सिक्योरिटी चेक की जरूरत नहीं होती. ये प्रोटोकॉल है कि प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति, एंबेसडर, जज, चीफ मिनिस्टर, दलाई लामा और वह लोग जिन्हें एसपीजी प्रोटेक्शन मिली है उनकी कभी सिक्योरिटी चेकिंग नहीं होती है. इन सारे वीवीआइपी लिस्ट में एक नाम ऐसा भी था, जिसके पास ना तो कोई पद था और ना एसपीजी प्रोटक्शन, लेकिन उसके बाद भी उनकी कभी भी एयरपोर्ट्स पर चेकिंग नहीं होती थी. अगर आप सोच रहे हैं यह नाम अमिताभ बच्चन धर्मेंद्र है तो आप गलत है. आलम यह था कि एयरपोर्ट पर खुद अधिकारी उन्हें जहां तक छोड़ने ले जाया करते थे. यह सब इसलिए क्योंकि उस शख्स को यह लोग अपना हीरो मानते थे और उन्हीं में से एक मानते थे यानी वर्दीवाला. यह कोई और नहीं बल्कि फिल्म एक्टर जगदीश राज थे.

जगदीश राज ने कई और रोल्स भी किए लोकिन उन्हें पहचान पुलिसवाला बनकर ही मिली. फोटो साभार वीडियो ग्रैब
सड़क पर देखते ही सैल्यूट मारते थे पुलिसवाले
पुलिसवालों के ये उस दौर के रियल हीरो थे. वह एक्टर से इतना कनेक्ट थे कि जब कभी इन्हें सड़क पर ट्रैफिक पुलिस उन्हें गाड़ी में देख लेती थी तो खुद सैल्यूट मारा करती थी. उनका कभी भी चालान नहीं हुआ, फिर चाहे गलती से उनसे ट्रैफिक रूल्स टूट क्यों ना गया हो.
अलग किरदारों में भी आए नजर
जगदीश राज ने 5 दशक तक खाकी वर्दी फिल्मों में पहनी. यही एक कारण था कि असली पुलिस के बीच उनका रुतबा बन गया. अपने करियर की 250 फिल्मों में जगदीश राज में 144 बार पुलिस इंस्पेक्टर का किरदार निभाया है. जगदीश राज ने कुछ अलग तरह के किरदार भी किए हैं, जैसे 1975 में आई ‘एक महल हो सपनों का’ इस फिल्म में विलेन के किरदार में नजर आए. साल 1961 की ‘प्यार का सागर’ और ‘दो अंजाने’ में एक डॉक्टर का किरदार निभाया. दो अन्य फिल्मों में उन्होंने जज की भूमिका भी निभाई, लेकिन उन्हें पहचान और शोहरत पुलिस के किरदार से ही मिली.
144 फिल्मों में बने पुलिस इंस्पेक्टर
जगदीश राज ने सिनेमा की दुनिया में करीब 5 दशक तक पुलिसवाले की भूमिका निभाई. आज के दौर में जब एक जैसे दो-तीन रोल मिलने के बाद जहां ऐक्टर्स फिल्म करने से मना कर देते हैं, वहां जगदीश राज ने टाइपकास्ट को ही अपनी सबसे बड़ी पहचान बनाई. उन्होंने 144 फिल्मों में पुलिस इंस्पेक्टर की भूमिका निभाई.

पुलिसवालों के ये उस दौर के रियल हीरो थे. फोटो साभार-official_dff/Instagram
गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में है नाम
देव आनंद की ‘सीआईडी’ हो या ‘जॉनी मेरा नाम’, अमिताभ बच्चन की ‘डॉन’ हो या ‘दीवार’ पुलिस की वर्दी में जगदीश राज हर जगह नजर आए. जगदीश राज का नाम जब गिनीज बुक में दर्ज है. हॉलीवुड के एक कास्टिंग डायरेक्टर ने उनकी फिल्मों की लंबी लिस्ट देखकर ही गिनीज बुक की टीम को जांच के लिए मुंबई बुलवाया था और सारी जांच पूरी करने के बाद नाम गिनीज बुक रिकॉर्ड हो गया.
65 की उम्र में बने थे DIG
जब जगदीश राज का नाम गिनीज में दर्ज हुआ तो उस वक्त फिल्मों में उनका प्रमोशन हो चुका था. वह पुलिस कमिश्नर का किरदार निभाने लगे थे. 2004 में आई फिल्म ‘मेरी बीवी का जवाब नहीं’ में वह डीआईजी बने थे. यह उनकी आखिरी फिल्म थी. इस फिल्म में श्रीदेवी और अक्षय कुमार लीड रोल में थे.
खुद भी सिलवा रखी थी पुलिस की वर्दी
जगदीश राज ने पुलिस इंस्पेक्टर का किरदार निभाते-निभाते खुद भी पुलिस की वर्दी सिलवा ली थी. जब भी किसी फिल्म को लेकर बात होती, डायरेक्टर उन्हें फोन करते तो वह सीधे वर्दी पहनकर पहुंच जाते.
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Tags: Entertainment Special
FIRST PUBLISHED : May 20, 2023, 15:34 IST